निर्बल" के बल "राम"।🙏
भारतीय मन हर स्थिति में "राम" को साक्षी बनाने का आदी है।
दुःख में --
"हे राम"
पीड़ा में --
"अरे राम"
लज्जा में --
"हाय राम"
अशुभ में --
"अरे राम राम"
अभिवादन में--
"राम राम"
शपथ में--
"राम दुहाई"
अज्ञानता में --
"राम जाने"
अनिश्चितता में --
"राम भरोसे"
अचूकता के लिए--
"रामबाण"
सुशासन के लिए--
"रामराज्य"
मृत्यु के लिए --
"राम नाम सत्य"
जैसी अभिव्यक्तियां
पग-पग पर "राम" को
साथ खड़ा करतीं हैं।
"राम" भी इतने सरल हैं कि...
हर जगह खड़े हो जाते हैं।
जिसका कोई नहीं...
उसके लिए "राम" हैं-
"निर्बल" के बल "राम"।
🙏 _*जय जय श्री राम*_ 🙏
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