विश्वकर्मा जयंती 🙏
भगवान विश्वकर्मा को पृथ्वी का प्रथम इंजीनियर और वास्तुकार माना जाता है। इन्हें “देवताओं का शिल्पकार” कहा गया है, जिन्होंने अपने अद्वितीय कौशल से स्वर्ग लोक से लेकर लंका, द्वारका, हस्तिनापुर, इन्द्रप्रस्थ और सुदामापुरी जैसे अद्भुत नगरों का निर्माण किया।
इन्हीं के द्वारा जगन्नाथपुरी का मंदिर, पुष्पक विमान, सुदर्शन चक्र, शिवजी का त्रिशूल, तथा सभी देवताओं के महलों और दिव्य शस्त्रों का निर्माण हुआ।
इस पावन दिन पर भारतवर्ष के सभी लोग अपने-अपने कार्यस्थलों पर भगवान विश्वकर्मा की विशेष पूजा करते हैं। कारखाने, उद्योग, मशीनें और औजार इस दिन विशेष रूप से पूजे जाते हैं।
आइए, हम सभी भगवान विश्वकर्मा के चरणों में नमन करें और उनके सृजन कौशल को प्रणाम करें।
🚩 जय श्रीहरि 🚩
🚩 जय विश्वकर्मा भगवान 🚩
*🛠️ विश्वकर्मा जयंती - सृष्टि के प्रथम शिल्पकार को नमन*
भारतीय परंपरा में भगवान विश्वकर्मा को देवताओं के दिव्य वास्तुकार, यंत्रों के निर्माता और प्रथम शिल्पकार के रूप में स्मरण किया जाता है.
पुराणों के अनुसार स्वर्ग के महलों, इंद्रपुरी, द्वारका नगरी, हस्तिनापुर, और स्वयं भगवान शिव के त्रिशूल से लेकर विष्णु के सुदर्शन चक्र तक, सबका निर्माण भगवान विश्वकर्मा ने ही किया.
हर वर्ष कन्या संक्रांति के दिन विश्वकर्मा जयंती मनाई जाती है. इस दिन इस्पातों, उद्योगों, उपकरणों और मशीनों की पूजा की जाती है, ताकि वे सदा सुरक्षित रहें और कल्याणकारी कार्यों में सहायक बनें.
विश्वकर्मा जयंती केवल एक पूजा नहीं, बल्कि सृजन और परिश्रम की सनातन परंपरा का उत्सव है.
*मेरी संस्कृति…मेरा देश…मेरा अभिमान 🚩*
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